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Delhi Assembly Session: अगस्त के पहले हफ्ते में हो सकता है मानसून सत्र... दिल्ली विधानसभा डिजिटली तैयार

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नई दिल्ली: दिल्ली विधानसभा के मानसून सत्र (Delhi Assembly Monsoon Session) को लेकर तैयारियां जोरों पर हैं। यह सत्र अगस्त के पहले सप्ताह से शुरू हो सकता है। वहीं इस बार सदन में सारा काम डिजिटल तरीके से कराया जाएगा। अधिकारियों ने बताया की यह सत्र एक सप्ताह तक चल सकता है लेकिन सत्र शुरू होने से पहले विधायकों को डिजिटल ट्रेनिंग दी जाएगी। यह ट्रेनिंग 21 जुलाई से शुरू होगी और तीन दिनों तक चलेगी। इस ट्रेनिंग में विधायकों को नेशनल ई विधान एप्लीकेशन के बारे में जानकारी दी जाएगी। दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष विजेंद्र गुप्ता विधान सभा परिसर में नेवा नेशनल ई विधान एप्लीकेशन (NEVA) ट्रेनिंग सेंटर का उद्घाटन करेंगे।



मानसून सत्र की शुरुआत से पहले संसदीय कार्य मंत्रालय के एक्सपर्ट ट्रेनर 21 से 23 जुलाई तक ट्रेनिंग देंगे। वे विधायकों को पेपरलेस और अच्छे तरीके से काम करने के लिए तैयार करेंगे। विजेंद्र गुप्ता ने कहा, 'डिजिटल बदलाव अब कोई विकल्प नहीं है, बल्कि लोगों के लिए जरूरी कानून बनाने के लिए जरूरी है।'



प्राइवेट स्कूलों पर बिल ला सकती है सरकार

विधानसभा के मानसून सत्र में जबरदस्त घमासान होने के आसार हैं। सत्र में एक अहम मुद्दा प्राइवेट स्कूलों की फीस को लेकर होगा। सरकार एक बिल लाएगी, जिससे प्राइवेट स्कूलों की फीस को कंट्रोल किया जा सके। कैबिनेट ने 29 अप्रैल को इस बारे में एक अध्यादेश पास किया था। बिल में यह प्रस्ताव है कि अगर कोई स्कूल मनमानी फीस बढ़ाता है, तो उस पर 1 लाख से 10 लाख रुपये तक का जुर्माना लगाया जाएगा। साथ ही, स्कूल को 20 दिन के अंदर फीस वापस करनी होगी। अगर स्कूल बार-बार नियमों का उल्लंघन करता है, तो उससे फीस बढ़ाने का अधिकार छीना जा सकता है।



अगर स्कूल समय पर फीस वापस नहीं करता है, तो 20 दिन बाद जुर्माना दोगुना हो जाएगा। 40 दिन बाद यह तीन गुना हो जाएगा। इसी तरह हर 20 दिन की देरी पर जुर्माना बढ़ता रहेगा। जो लोग बार-बार नियमों को तोड़ते हैं, उन्हें स्कूल मैनेजमेंट में कोई पद नहीं दिया जाएगा। स्कूल फीस बढ़ाने का अधिकार भी खो सकता है।



क्या है अध्यादेश का मकसद

अध्यादेश का मकसद है कि 'प्राइवेट संस्थानों की आजादी बनी रहे और माता-पिता के अधिकारों की रक्षा भी हो। साथ ही, यह भी सुनिश्चित किया जाए कि अच्छी शिक्षा 'सबको मिले और उसकी कीमत सही हो।' बिल में तीन कमेटियां बनाने का भी प्रस्ताव है। ये कमेटियां स्कूल, जिला और रिवीजन लेवल पर होंगी। 'रिवीजन कमेटी' का फैसला अंतिम माना जाएगा।



सदन में इन मुद्दों पर बीजेपी को घेर सकती है आप

सत्र में AAP (आम आदमी पार्टी) के विधायक बीजेपी (भारतीय जनता पार्टी) को घेर सकते हैं। वे दिल्ली में जलभराव, यमुना में प्रदूषण और पीने के पानी की सप्लाई जैसे मुद्दों पर सवाल पूछ सकते हैं। वहीं नेवा ट्रेनिंग को लेकर अधिकारियों का कहना है कि इससे सदन में पेपरलेस काम होगा। इससे पारदर्शिता, कुशलता और पर्यावरण को बढ़ावा मिलेगा। NeVA ट्रेनिंग सेंटर में 18 कंप्यूटर लगाए गए हैं। विधायकों का पहला बैच सोमवार से ट्रेनिंग शुरू करेगा।

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